15 August Independence Day 2021 History & Importance: 15 अगस्त एक ऐसी तारीख है जो हर भारतीय के लिए खास होती है। 15 अगस्त वही दिन है जिस दिन भारत ने अंग्रेजो की गुलामी से आजादी प्राप्त की। इस दिन भारत को 200 सालों बाद ब्रिटिश की गुलामी से आजादी मिली थी। यह वो दिन है जो हमें उन लोगों की याद दिलाता है जिनके बलिदान के कारण देश को आजादी मिली। इस आजादी के लिए स्वतन्त्रता सैनानियों ने अपनी जान तक न्यौछार कर दी और उसी वजह से हम आजाद भारत का हिस्सा बन सके।
स्वतंत्रता दिवस का इतिहास
15 अगस्त 1947 से पहले भारी दशकों तक अंग्रेजों के अधीन रहा था। अंग्रेजों के अत्याचार भारतीय जनता पर लगातार बढ़ते जा रहे थे। इस अत्याचार के विरोध में कुछ लोग खड़े हुए जिन्होंने जरूरत पड़ने पर अपनी जान तक न्योछावर कर दी। महात्मा गांधी, भगत सिंह, नेताजी सुभाष चंद्र बोस, सरदार वल्लभभाई पटेल, डॉ.राजेंद्र प्रसाद, मौलाना अबुल कलाम आजाद, सुखदेव, गोपाल कृष्ण गोखले, लाला लाजपत राय, लोकमान्य बालगंगाधर तिलक, चंद्र शेखर आजाद जैसे स्वतंत्रता सेनानियों के कारण ही देश आजाद हो सका।
अंग्रेजों के खिलाफ की गयी 1857 की क्रांति में कई लोगों ने अपनी जान गवाई लेकिन तब भी क्रांतिकारियों ने आजादी की उम्मीद नही छोड़ी। लगातार कोशिशों के बाद आखिरकार अंग्रेजी साम्राज्य की जड़े हिलने लगी थी। 1857 की क्रांति के बाद भी आजादी के लिए कई आंदोलन किये गए, जिनमें से कुछ सफल रहे तो कुछ में अंग्रेजो का पलड़ा भारी रहा। लेकिन आखिरकार 15 अगस्त 1947 को पहली बार देश के पहले प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू ने लाल किले पर तिरंगा फहराया।
स्वतंत्रता दिवस का महत्व
भारत अगर आज एक आजाद और लोकतांत्रिक देश है तो केवल उन लोगों के कारण जिन्होंने देश को आजादी दिलाने के लिये कई बलिदान दिए। 15 अगस्त के दिन हर साल लाल किले पर देश के प्रधानमंत्री के द्वारा देश का राष्ट्रीय ध्वज तिरंगा लहराया जाता है, और लोगों को देश के प्रति प्रेम भावना रखने का सन्देश दिया जाता है। प्रत्येक वर्ष देश में 15 अगस्त को स्वतन्त्रता दिवस मनाया जाता है।
स्वतंत्रता दिवस के दिन स्कूल, कॉलेज व अन्य शिक्षण संस्थानो में भी ध्वजारोहण किया जाता है। ध्वजारोहण के समय सभी लोग राष्ट्रीय गान जन गण मन गाते हैं। राष्ट्रीय गान ने सीधे खड़े होकर मस्तक उठाकर उच्चारण करने की परम्परा है। ध्वजारोहण और राष्ट्रीय गान के बाद उत्सव की शुरुआत होती है और उसके बाद मुख्य लोगों के द्वारा भाषण दिया जाता है। इसके अलावा देशभक्ति गीतों और कविताओं के माध्यम से भी देश के प्रति प्रेम भावना प्रस्तुत की जाती है।
इस दिन पूरे देश में देशभक्ति का माहौल रहता है और हर जगह भारत का राष्ट्रीय ध्वज तिरंगा लहराता हुआ दिखता है। इस बार कोरोना के कारण देश में विपरीत परिस्थितियां है जिस वजह से सरकार ने घरो में रहकर ही स्वतन्त्रता दिवस मनाने की गुजारिश की है। लालकिले पर प्रधानमंत्री के द्वारा किये जाने वाले ध्वजारोहण और सम्बोधन को इंटरनेट और टेलीविजन के माध्यम से देखा जा सकता है।