Anek movie Review:अनुभव और आयुष्मान की जोड़ी ने खींच दी नई लकीर। बॉक्सिंग और गनफाइट के बिच असली भारतीय होने का मतलब ढूंढ़ती है ख़ुराना की फिल्म :-
फिल्म अनेक में आपको एक बार फिर से आपको अनुभव सिन्हा और आयुष्मान खुराना की जबरदस्त जोड़ी एक बार फिर से आ गयी है. इस बार दोनों नॉर्थ ईस्ट इंडिया की कहानी लेकर अपने दर्शको के सामने हाजीर हुए है। इनकी यह फिल्म किसी है जानने के लिए हमारे पेज पर पढ़े इनका रिव्यु।
फिल्म अनेक को देकते हुए आप को बार बार नक्सलवादी एरिया छत्तीसगढ़ के नक्सल प्रभावित क्षेत्रों की डेढ़ दशक पहले की वह यात्रा बार बार याद आती रही जिसमें गलती से मैं अपने पूरे परिवार को साथ लेकर चला गया था। दंतेवाड़ा, बस्तर के अंदरूनी इलाकों में घूमते हुए जान हथेली पर थी लेकिन भरोसा इस बात का था कि इलाके के लोग जुबान के पक्के होते हैं।गाड़ी का नंबर उनकी सारी टीमों को इलाके के एक रिपोर्टर के द्वारा भिजवाया गया था।
और भरोसा मिला था कि हम सुरक्षित हैं। लेकिन डर ये भी बना रहा कि कहीं अगर किसी विरोधी गुट ने सुर्खियां बनाने की ठान ली तो क्या होगा। डायरेक्टर अनुभव सिन्हा समाज को एक सच्ची घटना दिखाने के लिए महसूर होते है। भारत में रहकर कौन कौन भारतीय है। फिल्म ‘अनेक’ इसी सवाल को उत्तर पूर्व में लेकर जाती है। सिर्फ 24 किमी चौड़े गलियारे से बाकी देश से जुड़े उत्तर पूर्व के राज्यों के किसानों की पूरी फसल हाईवे पर खड़े ट्रकों में सड़ जाती है क्योंकि उन्हें दूसरी तरफ से आती फौज की गाड़ियों के लिए जगह बनानी होती है।
क्या फिल्म अनेक देकना चाइये या नहीं :-
फिल्म ‘अनेक’ इस समय का सच है। हिंदी सिनेमा इन दिनों भ्रांतियों, पूर्वाग्रहों और अनुमानों के बीच झूल रहा है। ‘द कश्मीर फाइल्स’ के सुपरहिट होने और ‘द केरला स्टोरी’ के रिलीज होने के बीच फिल्म ‘अनेक’ देश की तस्वीर का एक ऐसा पहलू है जिसके बारे में बात होना जरूरी है। अभिनेता आयुष्मान खुराना और निर्देशक अनुभव सिन्हा ने फिल्म ‘आर्टिकल 15’ के बाद ये एक और फिल्म बनाकर अपने लिए तो एक नई लकीर खींची ही है, ये लकीर हिंदी सिनेमा की तकदीर की भी नई लकीर बन सकती है। फिल्म जरूर देखें। ये फिल्म एक सच्ची घटना पर आधारित है।