CWC Meeting: हाल ही में कांग्रेस की कांग्रेस वर्किंग कमेटी बिठाई गयी थी, जो कि 7 घंटे चली थी उसमें फैसला हुआ कि सोनिया गांधी ही अभी कांग्रेस पार्टी की अंतरिम अध्यक्ष रहेंगी। इसके अलावा यह भी घोषणा की गयी कि पार्टी का नया अध्यक्ष अगले 6 महीने में चुना जाएगा। बता दें कि इससे पहले की बैठक में सोनिया गांधी ने पार्टी में अंतरिम अध्यक्ष के पद के लिए इस्तीफे की पेशकश की थी। उन्होंने बैठक में नए पार्टी अध्यक्ष के चुनाव की प्रक्रिया शुरू करने को कहा था। सोनिया गाँधी ने पार्टी के महासचिव केसी वेणुगोपाल को इस पत्र का जवाब भेज दिया था।
Sonia Gandhi to remain Congress party's interim president for now, new chief to be elected within next 6 months. Congress Working Committee (CWC) meeting has concluded after 7 hours: Sources
— ANI (@ANI) August 24, 2020
आखिर क्यों की थी सोनिया गांधी ने इस्तीफे की पेशकश
इससे पहले की CWC (कोंग्रेस वर्किंग कमेटी) में सोनिया गांधी ने गुलाम नबी आजाद समेत अन्य नेताओं द्वारा नेतृत्व परिवर्तन की शिफारिश में पत्र लिखने पर इस्तीफे की पेशकश की थी। इसके बाद सोनिया ने पार्टी के महासचिव को इन पत्रों का जवाब भेज दिया था। लेकिन हाल ही में हुई CWC में सोनिया गांधी का इस्तीफा खारिज करते हुए उन्हें ही कांग्रेस का अंतरिम अध्यक्ष चुना गया है। अगला प्रमुख 6 महीने के अंदर चुना जाएगा। वर्किंग कमेटी के बैठक के बाद पार्टी के मुख्य नेता कपिल सिब्बल, शशि थरूर और मनीष तिवारी, गुलाम नबी आजाद के घर उनसे मिलने और उन्हें मनाने के लिए पहुचे थे। लगता है कि मेहनत रंग लायी।
सोनिया गांधी को पत्र लिखने वालों के खिलाफ हो सकती है कार्यवाही
कुछ न्यूज़ रिपोर्ट की मानें तो कांग्रेस पार्टी की मुख्य सदस्य अंबिका सोनी ने कांग्रेस वर्किंग कमेटी की बैठक में कहा कि सोनिया गांधी को पत्र लिखने वाले नेताओं के खिलाफ संवैधानिक कार्यवाही भी की जा सकती है। इस पर सोनिया गांधी को पत्र लिखने वाले नेता, गुलाम नबी आजाद और आनंद शर्मा ने कहा कि वे चिंताओं को बढ़ाने की सीमा के भीतर थे, और उन्होंने इसी वजह से सोनिया गांधी को पत्र लिखा था, लेकिन अगर किसी को लगता है कि यह गलत है, तो संवैधानिक कार्यवाही भी कर सकता है। बता दें कि सोनिया गांधी को पत्र लिखने वाले नेताओं ने बताया है कि उन्होंने संगठन के बेहतरता के लिए पत्र लिखा। सोनिया गांधी और राहुल गांधी पर पूरा विश्वास है।
पी चिदम्बरन ने दिया मुख्य बयान
कांग्रेस वर्किंग कमेटी की बैठक में सबसे मुख्य बयान यूपीए की सरकार में वित्त मंत्री रहे पी चिदंबरम ने दिया। उन्होंने कहा कि ‘जिन लोगों ने पत्र लिखा था वह भी बीजेपी के उतने ही विरोधी हैं जितने कि राहुल गांधी और मैं हूँ। किसी भी राजनीतिक दल में असंतोष होना साधारण बात है, और जब तक पार्टी में असंतोष नहीं होता तब तक बदलाव भी नहीं लाया जा सकता आता है। यानी कि बदलाव लाने के लिए राजनीतिक दलों में असंतोष होना आवश्यक है’।
राहुल गांधी ने जताई थी पत्र से नाराजगी
नेताओं के द्वारा पत्र से नाराजगी जताते हुए राहुल गांधी ने कहा था कि ‘जिस समय यह पत्र लिखा गया उस समय उनकी मां सोनिया गांधी अस्पताल में भर्ती थी। यह वह समय था जब राजस्थान में कांग्रेस की सरकार संकटों का सामना कर रही थी, और ऐसे समय में इस प्रकार का पत्र देना उचित नहीं था। जिन नेताओं को असंतोष था उन्हें मीडिया में जाने की बजाय सीडब्ल्यूसी की मीटिंग में अपनी नाराजगी प्रकट करनी चाहिए थी। हो सकता है कि नेताओं ने बीजेपी के साथ मिलकर यह पत्र लिखे हो’।
कुछ ने सफाई दी तो कुछ ने नाराजगी जताई
राहुल गांधी के इस बयान पर जहां एक तरफ कुछ नेताओं जैसे कि कपिल सिब्बल और गुलाम नबी आजाद ने नाराजगी जताई तो वहीं कुछ नेता जैसे कि राष्ट्रीय प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने सफाई दी। कपिल सिब्बल ने सोशल मीडिया पर कहा कि वह सालों से कांग्रेस की सेवा कर रहे हैं और राहुल गांधी ने उन्हें बीजेपी से मिला हुआ बता दिया जो कि उचित नहीं है। लेकिन इसके बाद कपिल सिब्बल ने ही कुछ दिनों बाद अपना बयान वापस लिया और कहा कि राहुल गांधी ने उनसे बात की और बताया कि उन्होंने ऐसा कुछ नहीं कहा।
Was informed by Rahul Gandhi personally that he never said what was attributed to him .
I therefore withdraw my tweet .
— Kapil Sibal (@KapilSibal) August 24, 2020
सर्व सम्मती से चुना जाना चाहिए अध्यक्ष
सीडब्ल्यूसी की बैठक में काफी सारे वरिष्ठ नेताओं ने कहा कि पार्टी का मुख्य अध्यक्ष सर्वसम्मति से चुना जाना चाहिए। सलमान खुर्शीद, केके तिवारी, लोकसभा में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी, सांसद मनिकम टैगोर, पार्टी के सचिव सीवीसी रेड्डी और कर्नाटक के पूर्व सीएम सिद्दरमैया ने अपना बयान देते हुए कहा कि पार्टी के सभी नेताओं द्वारा सर्वसम्मति से अध्यक्ष चुना जाना चाहिए। इसके अलावा उन्होंने यह भी कहा कि उन्हें गांधी परिवार पर पूरा भरोसा है। सलमान खुर्शीद ने कहा कि उन्हें कोई शक नहीं है कि गांधी ही कांग्रेस के नेता है और इससे विपक्ष भी इनकार नहीं कर सकता। उन्होंने कहा कि मुझे इसकी चिंता नहीं है कि अध्यक्ष कौन होना चाहिए, बल्कि मुझे इसका संतोष है कि हमारे पास एक नेता (राहुल गांधी) है।