Mudra Loan: शिशु लोन लेने वालों को मिलेगी 1500 करोड़ की राहत, एक साल तक ब्याज में 2% की छूट

Mudra Loan: देश में कोरोना वायरस का कहर है। लोग डरे हुए है और आर्थिक स्थिति भी खराब हो रही है। ऐसे में सरकार लोगों के लिए जितना हो सके उतने अधिक प्रबन्ध कर रही है और आर्थिक सहायता दे रही है। हाल ही में सरकार ने शिशु लोन लेने वालों को कोविड -19 के चलते काफी राहत दी है। देश की वित्त मंत्री निर्मला सीतारमन ने हाल ही में यह अनाउंसमेंट की है कि मुद्रा स्कीम के तहत शिशु लोन लेने वालों को एक साल तक ब्याज में 2% तक छूट देगी।

Mudra Loan In Hindi: शिशु लोन के तहत 50,000 रुपये तक का लोन

मुद्रा योजना के तहत नागरिकों को स्तर के अनुसार कई तरह से लोन दिया जाता है। कुल मिलाकर 50 हजार रुपये से लेकर 10 लाख तक का लोन लिया जा सकता है। इनमे से पहला शिशु लोन है जिसके तहत करीब 50 हजार तक का लोन लिया जा सकता है। लोन के दूसरे प्रकार किशोर लोन के तहत 50 हजार से 5 लाख तक का लोन लिया जा सकता है। तरुण लोन के अंतगर्त करीब 10 लाख तक का लोन लिया जा सकता है।

अब तक मिल चुका है 1.62 करोड़ का लोन

वित्त मंत्री की मुद्रा लोन योजना पर दी गयी जानकारी के अनुसार अब तक 1.62 करोड़ तक का लोन लोगों को दिया जा चुका है। कोरोना वायरस के चलते दी गयी छूट में लोगों की ब्याज में कटौती की जा रही है और उनसे कम ब्याज लिया जा रहा है। करीब 3 करोड़ लोगों को ब्याज छूट का लाभ मिलेगा। इससे लोगों के करीब 1500 करोड़ रुपये की बचत होगी।

जानिये क्या है सरकार का उद्देश्य?

सरकार के मुद्रा योजना के पीछे कई उद्देश्य हैं। मुद्रा योजना के द्वारा सरकार देश के युवाओं को उद्यमी बनने की दिशा में प्रेरित कर रही है। इसके अलावा सरकार का इस योजना के पीछे का मुख्य उद्देश्य छोटे उद्यमों के जरिये रोजगार सृजन को भी बढाना है।

बिना गारंटी के मिल जाएगा लोन

मुद्रा योजना की खास बात यह है कि इसमें बिना गारंटी के भी लोन मिल जाएगा। बैंक से लोन लेने की प्रक्रिया काफी जटिल होती है और लोन लेने के लिए आवेदक को बैंक को गारंटी भी देनी होती हुई जबकि मुद्रा योजना में लोन लेने के लिए सरकार को कोई गारंटी देने की जरूरत नहीं है। इसके अलावा मुद्रा योजना में लोन चुकाने की समय सीमा को 5 साल के लिए बढ़ाया जा सकता है।

जानिए क्या है सामान्य ब्याज दर?

प्रधानमंत्री मुद्रा योजना के तहत जिन भी बैंकों और संस्थाओं से लोन लिया जाता है उनके अनुसार लोन के लिए ब्याज की दर निर्धारित की जा सकती है लेकिन न्यूनतम ब्याज की दर 12% ही रहती है।

कैसे मिलता है लोन?

मुद्रा योजना के तहत जैसे भी बैंक से जिस उद्देश्य के लिए लोन लिया जाता है उसे बैंक मैनेजर वेरीफाई करता है। अगर बैंक मैनेजर को उद्देश्य से संतुष्टि मिल जाती है तो आसानी से लोन कंफर्म कराया जा सकता है।

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